Monday 5 May 2014

"सोशल मीडिया का प्रभाव "



"सोशल मीडिया नें कुछ वर्षों में ही अपनी  जगह समाज में बना ली है। आज इसके बिना दुनिया अधूरी सी लगतीं है ,चुनाव हो या कोई आंदोलन आज सोशल मीडिया पर प्रचार के बिना अधूरें हैँ। दुनिया की सबसे बड़ी सोशल नेटवर्किंग साइट फेसबुक ने इसी साल अपनी दसवीं सालगिरह पूरी की है। 2004 में पहली बार फेसबुक सोशल मीडिया के रुप में आया। Twitter तो 2009 में आया है। 2009 में जितने लोंगो ने कांग्रेस को वोट देकर सरकार बनाई इस बार करीब उतनी सख्यां भारत मे सोशल मीडिया का उपयोग करने वालों की है। पार्टी का प्रचार प्रसार भी  सोशल मीडिया जबरदस्त कर रहा है ,इसलिए चुनाव आयोग पार्टिंयों की गतिविधियों पर निगरानी लगाए हुये हैं, सोशल मीडिया पर प्रचार के लिए।

सोशल मीडिया के जरिए पार्टी फंड भी जुटाती है ,वोटर तक पहुंचने ओर अपनी बात रखने का सशक्त माध्यम बन गया  है। नीतियां वादें और भाषणों के लिए राजनैतिक पार्टियों नें youtube पर अपने चैनल बना रखे हैं। देश के दस करोड़ लोग इंटरनेट क इस्तेमाल प्रतिदिन करते हैं ,इसलिए भी सभी मुद्दों से जुड़ने में  सोशल मीडिया के इस्तेमाल की  भूमिका अहम है ,चुनाव में सबसे ज्यादा सोशल मीडिया का प्रयोग आप (आम आदमी पार्टी ) नें किया जिस वजह से उसें दिल्ली विधानसभा चुनाव में जीत हासिल हुई थी। आजकल दोनों बड़ी पार्टियां कांग्रेस हो या भाजपा दोनों जमकर प्रचार के लिए सोशल मीडिया का प्रयोग कर रही हैं। 

कांग्रेस ने सोशल मीडिया पर प्रचार युवाओं को पार्टी से जोड़ने के लिये "कट्टर सोच नहीं युवा जोश"अभियान चलाया हुआ है ,अभियान से कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी की छवि चमकाने कि कोशिस की जा रही है , विपक्ष के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी को करारा जबाव देने कि कोशिस हो रहीं है , साथ ही  कांग्रेस पार्टी इस अभियान के जरिए विपक्षी पार्टियों के खिलाफ पोल खोल अभियान भी चला रही हैं। 

भारतीय जनता पार्टी नें लोकसभा चुनाव 2014 के लिए देश भर में 272 से अधिक सीटें जीतने का लक्ष्य बना रखा है, इसी के साथ नरेंद्र मोदी को नमो नाम से सम्बोधित किया जाता है। नरेंद्र मोदी की दिल्ली में रैली हुई तो "नमो दिल्ली" नाम से केम्पेन फेसबुक ओर twitter पर चलाती रही। आम आदमी पार्टी ने ( AAP in Anction ) नाम से अभियान चलाया है ,जिसके माध्यम से वह अपने फैसलों से लोंगो को अवगत कराती है ,साथ ही कांग्रेस की तरह पोल खोल अभियान चलाए हुए है। जिससे वह भाजपा और कांग्रेस के भ्रश्टाचार ,विकास का पोल खोलने में लगीं हूई है। 

सोशल मीडिया अब देश कि धडकन बन चुकीं है ,इसकी बिना रहना अब लोंगों  को अधूरा लगता  है। 

सुगंधा झा